कमिश्नर का फरमान, 12 घंटे की ड्यूटी खड़े
होकर करें अधिकारी
मुबंई (मिड डे)। कस्टम ऑफिसर द्वारा रिश्वत की मांग करने वाले वीडियो के फेसबुक पर वायरल होने के एक दिन बाद मुबंई एयरपोर्ट में कस्टम के चीफ कमिश्नर ने विचित्र फरमान जारी किया है। इसके तहत ड्यूटी के दौरान कोई भी ऑफिसर कुर्सी का इस्तेमाल नहीं कर सकेगा। वर्दीधारी कस्टम अधिकारी जो आमतौर पर स्कैन द्वारा सामान की जांच करते थे, अब उन्हें अपनी 12 घंटे की ड्यूटी खड़े होकर करनी होगी।
सूत्रों के अनुसार, चीफ कमिश्नर चाहते हैं कि अधिकारी हमेशा चुस्त दुरूस्त और अलर्ट रहें। इसी दिशा में यह कदम उठाया गया है।
शुक्रवार की सुबह मुबंई एयरपोर्ट में जब कस्टम विभाग के वर्दीधारी अधिकारी ड्यूटी पर लौटे तो तब उन्हें पता चला कि अब उन्हें 12 घंटे की शिफ्ट में खड़े होकर कार्य करना है। हर टीम में 12 सुप्रीटेंडेंट्स, 14 अन्य अधिकारी और 10 सिपाही तैनात हैं।
इस निर्णय से निराश एक वरिष्ठ कस्टम अधिकारी ने बताया कि अधिकतर सिपाहियों की उम्र 50 वर्ष से अधिक है और टीम में कई महिलाएं भी हैं। नियम से प्रभावित एक अधिकारी ने बताया, "अन्य एजेंसियों में सिपाहियों को बैठने के लिए कुर्सी दी जा रही है, लेकिन हम कार्य के दौरान अब बैठ नहीं सकते। यह एक प्रकार से बेइज्जती है। यह कर्मचारियों के प्रति अमानवीय व्यवहार का मामला है।"
एक अधिकारी ने आरोप लगाया कि चीफ कमिश्नर ने उनसे कहा है कि वे तभी कुर्सी का प्रयोग कर सकते हैं, जब वो ऑफिस के अंदर हों और उन्हें आराम की जरूरत पड़े। उसने बताया, "दिन की शिफ्ट के दौरान कम उड़ाने होती है तो कोई भी ऑफिस के अंदर आराम नहीं करता, लेकिन रात में जब काफी अधिक मात्रा में उड़ानों का परिचालन होता है तो अधिकारियों के पास इतना भी समय नहीं होता कि वो अपने स्थान से कहीं जा सकें, ऐसे में कैसे कोई मैनेज करेगा?"
वहीं इस मसले पर मुबंई एयरपोर्ट में कस्टम के Chief Commissioner Devendra Singh कहा "यह निर्णय अधिकारियों की दक्षता को बढ़ाने के लिए उठाए गए आंतरिक प्रशासनिक उपायों के तहत लिया गया है और यदि इस निर्णय से किसी को कोई परेशानी होती है तो हम उसका ध्यान रखेंगे।" उन्होंने स्पष्ट किया कि कोई औपचारिक आदेश जारी नहीं किया गया है।